Halloween party ideas 2015

 डोईवाला:

श्री लच्छेश्वर महादेब  मंदिर, डोईवाला के प्रांगण में श्रीमद्भागवत कथा के तीसरे दिवस  में  श्री वृन्दावन धाम से पधारे  व्यास जी श्री राम उपाध्याय जी ने  भागवत जी के मंगलाचरण  के 03 श्लोकों का विस्तार से वर्णन किया।

thord day shrimadbhagwat katha shri laccheshwar mahadev


 हमारे ठाकुर जी की माया कितनी प्रबल है कि कोई इनसे नहीं बच सकता है ।हम केवल माया का आश्रय लेते है और माला को छोड़ देते है

इसी कारण उन्हें अकारण दुखों का सामना करना पड़ता है।

उन्होंने कहा कि भागवत अमृत के समान है , जिसे पीना चाहिए। बार बार इसका पान करना चाहिए।

 इसका पान  वही कर सकता है जो श्री भागवत जी को प्रेम करता है। जो इस युगल किशोर के स्वरूप में रहता है।

 राजा परीक्षित की कथा का श्रद्धालुओं ने श्रवण किया। साथ ही वर्णन किया कि भागवत में राधा  नाम क्यों नही है।

उन्होंने बताया कि  भागवत में राधा नही है क्योंकि गुरु का नाम नही लिया जाता। इसीलिये सुकदेव जी ने राधा नही लिया, अन्यथा वह 6महीने समाधि में चले जाते जबकि परीक्षित को कथा 7 दिन में सुनानी थी। श्री राधा रानी ने ही उन्हें श्री भागवत जी के प्रचार हेतु धरती पर भेज।


 





मसूरी-देहरादून विकास प्राधिकरण (एमडीडीए) ने राजधानी देहरादून और आसपास के क्षेत्रों में अवैध कब्जों, प्लाटिंग व निर्माणों पर शिकंजा कसना तेज कर दिया है।


 मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के सख्त निर्देशों के बाद एमडीडीए लगातार अतिक्रमणकारियों के खिलाफ अभियान चला रहा है। इसी क्रम में आज प्राधिकरण क्षेत्रान्तर्गत दो स्थानों भोगपुर और हरबजवाला में अवैध निर्माणों को सील कर दिया गया।



एमडीडीए उपाध्यक्ष बंशीधर तिवारी ने कहा मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर नियम विरूध अवैध निर्माण और प्लॉटिंग के खिलाफ जीरो टॉलरेंस की नीति पर काम हो रहा है। कोई भी व्यक्ति चाहे कितना भी प्रभावशाली क्यों न हो अगर अवैध कब्जों, निर्माण, प्लाटिंग या नियम विरूध कार्य करने में लिप्त पाया जाता है तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जायेगी। उन्होंने आम जनता से भी अपील है कि ऐसे निर्माणों में न फंसे और न ही किसी को प्रोत्साहित करें।


आज की कार्रवाई इस प्रकार रही...

थानो भोगपुर :- सानिका व विशाल द्वारा किए जा रहे अवैध निर्माण को सहायक अभियंता प्रमोद मेहरा, अवर अभियंता दीपक नौटियाल और सुपरवाइजर की मौजूदगी में सील किया गया।


मेहुवाला हरबजवाला (आसन नदी के निकट) :- केदार सिंह चौहान द्वारा किए जा रहे अवैध निर्माण को संयुक्त सचिव गौरव चटवाल के आदेश पर सहायक अभियंता विजय सिंह रावत, अवर अभियंता जितेंद्र सिंह और सुपरवाइजर की टीम ने सील किया।


एमडीडीए ने स्पष्ट किया है कि यह अभियान आगे भी जारी रहेगा और प्राधिकरण क्षेत्र में कहीं भी अवैध निर्माण पाया गया तो तुरंत कार्रवाई की जाएगी।


*परिजनों से फोन पर वार्ता कर प्रकट की शोक संवेदनाएं*


*कानून की सुसंगत धाराओं के तहत कठोर कार्रवाई की जाएगी: सीएम धामी*

DM pauri swati Bhadoriya meet to family of suicide case victim


पौड़ी जिलाधिकारी स्वाति भदौरिया और एसएसपी लोकेश्वर सिंह ने आज मृतक जितेंद्र कुमार के परिजनों से मिलकर उनको मामले में अब तक हुई कार्रवाई से अवगत कराया।


इस अवसर पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने भी परिजनों से फोन पर बातचीत कर गहरा दुःख व्यक्त किया और शोक संवेदनाएँ प्रकट करते हुए दिवंगत की आत्मा की शांति की प्रार्थना की।


मुख्यमंत्री ने परिजनों को भरोसा दिलाया कि मामले की निष्पक्ष जांच सुनिश्चित की जाएगी और दोषियों के खिलाफ कानून की सुसंगत धाराओं के तहत कठोर कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने पुलिस को मामले की गहन और तत्परता से जांच के निर्देश दिए।


ज्ञात हो कि पौड़ी कोतवाली क्षेत्र में युवक जितेंद्र कुमार ने आत्महत्या कर ली थी। आत्महत्या से पूर्व, उसने सोशल मीडिया पर एक वीडियो जारी कर कुछ व्यक्तियों पर रुपये ठगने का आरोप लगाया था। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए आरोपी हिमांशु चमोली सहित पांच लोगों को देहरादून से गिरफ्तार किया है।

 मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने आज नई दिल्ली में केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री श्री नितिन गडकरी से शिष्टाचार भेंट की। इस दौरान मुख्यमंत्री ने उत्तरकाशी जनपद के धराली क्षेत्र सहित राज्य के विभिन्न भागों में हाल ही में आई आपदा व अतिवृष्टि के कारण सड़कों और पुलों को हुए भारी नुकसान की जानकारी केंद्रीय मंत्री को दी।



मुख्यमंत्री ने विशेष रूप से धराली क्षेत्र में सड़कों और पुलों को हुए व्यापक नुकसान का उल्लेख करते हुए इनके शीघ्र मरम्मत और पुनर्निर्माण के लिए केंद्रीय सहयोग का अनुरोध किया। 


मुख्यमंत्री श्री धामी ने राज्य के अन्य क्षेत्रों में भी अतिवृष्टि से प्रभावित सड़कों व पुलों की जानकारी साझा करते हुए इनके लिए भी केंद्र सरकार से शीघ्र सहायता प्रदान किए जाने की आवश्यकता जताई।


केंद्रीय मंत्री श्री नितिन गडकरी ने मुख्यमंत्री को सभी आवश्यक सहायता का सकारात्मक आश्वासन दिया।

 

आज का राशिफल

*दिनाँक:-23/08/2025,शनिवार*

अमावस्या, कृष्ण पक्ष,

भाद्रपद 

rashifal today 23 august 2025




*💮🚩    विशेष जानकारी   🚩💮*


*शनिश्चरी अमावस्या 


*कुशोत्पाटिनी  अमावस्या 


*💮🚩💮   शुभ विचार   💮🚩💮*


तावद्भयेन भेतव्यं यावद् भयमनागतम् ।

आगतं तु भयं वीक्ष्यं प्रहर्तव्यमशंकया ।।

।।चाo नीo।।


यदि आप पर मुसीबत आती नहीं है तो उससे सावधान रहे. लेकिन यदि मुसीबत आ जाती है तो किसी भी तरह उससे छुटकारा पाए.


*🚩💮🚩  सुभाषितानि  🚩💮🚩*


गीता -: अर्जुन विषादयोग:- अo-1


निमित्तानि च पश्यामि विपरीतानि केशव।

 न च श्रेयोऽनुपश्यामि हत्वा स्वजनमाहवे॥


हे केशव! मैं लक्षणों को भी विपरीत ही देख रहा हूँ तथा युद्ध में स्वजन-समुदाय को मारकर कल्याण भी नहीं देखता ll 31ll


*💮🚩   दैनिक राशिफल   🚩💮*


देशे ग्रामे गृहे युद्धे सेवायां व्यवहारके।

नामराशेः प्रधानत्वं जन्मराशिं न चिन्तयेत्।।

विवाहे सर्वमाङ्गल्ये यात्रायां ग्रहगोचरे।

जन्मराशेः प्रधानत्वं नामराशिं न चिन्तयेत ।।


🐏मेष

प्रसन्नता रहेगी। जोखिम न लें। लाभ होगा। कार्यपद्धति में विश्वसनीयता बनाएं रखें। आर्थिक अनुकूलता रहेगी। रुका धन मिलने से धन संग्रह होगा। पुराने मित्र व संबंधी मिलेंगे। अच्‍छी खबर मिलेगी। राज्यपक्ष से लाभ के योग हैं। नई योजनाओं की शुरुआत होगी।


🐂वृष

आय बढ़ेगी। मनोरंजक यात्रा होगी। प्रसन्नता रहेगी। सहयोगी मदद नहीं करेंगे। व्ययों में कटौती करने का प्रयास करें। परिवार में प्रसन्नता का वातावरण रहेगा। घर-बाहर पूछ-परख रहेगी। कार्य पूर्ण होंगे। व्यापार के कार्य से बाहर जाना पड़ सकता है।


👫मिथुन

मेहनत अधिक होगी। आवास संबंधी समस्या हल होगी। आलस्य न करें। सोचे काम समय पर नहीं हो पाएंगे। व्यावसायिक चिंता रहेगी। संतान के व्यवहार से कष्ट होगा। शोक समाचार मिल सकता है। काम में मन नहीं लगेगा। विवाद से बचें।


🦀कर्क

प्रसन्नता रहेगी। धनार्जन होगा। रोजगार में उन्नति एवं लाभ की संभावना है। लाभदायक समाचार मिलेंगे। प्रेम-संबंधों में सफलता मिलेगी। पार्टी व पिकनिक का आनंद मिलेगा। बौद्धिक कार्य सफल रहेंगे। सामाजिक एवं राजकीय ख्याति में अभिवृद्धि होगी। व्यापार अच्छा चलेगा।


🐅सिंह

प्रसन्नता बनी रहेगी। व्यापार में परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। संपत्ति के बड़े सौदे बड़ा लाभ दे सकते हैं। उन्नति के मार्ग प्रशस्त होंगे। कार्य के विस्तार की योजनाएं बनेंगी। स्वास्थ्य के प्रति लापरवाही न करें। पठन-पाठन में रुचि बढ़ेगी।


🙍‍♀️कन्या

व्यवसाय ठीक चलेगा। लाभ होगा। व्यापार-व्यवसाय अच्छा चलेगा। कार्यों में विलंब से चिंता होगी। मानसिक उद्विग्नता रहेगी। पारिवारिक जीवन संतोषप्रद रहेगा। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी। वैवाहिक प्रस्ताव मिल सकता है।


⚖️तुला

दूसरों पर विश्वास हानि देगा। कार्य में बाधा होगी। पत्नी से आश्वासन मिलेगा। स्वयं के निर्णय लाभप्रद रहेंगे। मानसिक संतोष, प्रसन्नता रहेगी। नए विचार, योजना पर चर्चा होगी। दूसरों की नकल न करें। चोट व रोग से बचें। जल्दबाजी से हानि होगी।


🦂वृश्चिक

निवेश शुभ रहेगा। बाहरी सहायता से काम होंगे। ईश्वर में रुचि बढ़ेगी। कामकाज की अनुकूलता रहेगी। व्यावसायिक श्रेष्ठता का लाभ मिलेगा। रोमांस में सफलता मिलेगी, आपसी संबंधों को महत्व दें। पूंजी संचय की बात बनेगी। तंत्र-मंत्र में रुचि बढ़ेगी। यात्रा मनोरंजक रहेगी।


🏹धनु

रोजगार बढ़ेगा। सतर्कता से कार्य करें। संतान के व्यवहार से सामाजिक प्रतिष्ठा में कमी आ सकती है। वरिष्ठ जन सहायता करेंगे। रुके कार्यों में गति आएगी। स्वास्थ्य का ध्यान रखें। व्यापार में नए अनुबंध आज नहीं करें। आर्थिक तंगी रहेगी।


🐊मकर

व्यावसायिक यात्रा सफल रहेगी। रोमांस में सफलता मिलेगी, प्रसन्नता रहेगी। रुका हुआ धन मिल सकता है। निवेश शुभ रहेगा। स्वयं के ही प्रयासों से जनप्रियता एवं मान-सम्मान मिलेगा। रुका काम समय पर पूरा होने से आत्मविश्वास बढ़ेगा। व्यवसाय लाभप्रद रहेगा, नई योजनाएं बनेंगी।


🍯कुंभ

अपनी वस्तुएं संभालकर रखें। जोखिम न लें। नए संबंधों के प्रति सतर्क रहें। भूल करने से विरोधी बढ़ेंगे। कार्यक्षेत्र का विकास एवं विस्तार होगा। उपहार मिल सकता है। संतान की चिंता दूर होगी। अप्रत्याशित खर्च होंगे। तनाव रहेगा। दूसरों के झगड़ों में न पड़ें।


🐟मीन

वरिष्ठ जन सहायता करेंगे। अप्रत्याशित लाभ होगा। यात्रा होगी। व्यावसायिक अथवा निजी काम से सुखद यात्रा हो सकती है। पठन-पाठन में रुचि बढ़ेगी। दूसरों से न उलझें। आर्थिक स्थिति अच्छी रहेगी। बेरोजगारी दूर करने के प्रयास सफल रहेंगे।


🙏आपका दिन मंगलमय हो🙏

🌺🌺🌺🌺🙏🌺🌺🌺🌺

*आचार्य  पवन  पाराशर (वृन्दावन)*

rashifal today 23 august 2025

 केंद्र सरकार ने आर.डी.एस.एस. योजना के अंतर्गत यूपीसीएल को ऋषिकेश में एच.टी./एल.टी. लाइनों के भूमिगतकरण तथा एससीएडीए ऑटोमेशन हेतु  ₹547.73 करोड़ की वित्तीय स्वीकृति जारी की* 



 *सीएम धामी ने इस संबंध में केंद्र सरकार से किया था अनुरोध* 



 *मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी एवं केंद्रीय ऊर्जा मंत्री श्री मनोहर लाल खट्टर का आभार व्यक्त किया* 



केंद्र सरकार द्वारा यूपीसीएल, उत्तराखण्ड द्वारा ऋषिकेश के गंगा कॉरिडोर में एच.टी./एल.टी. लाइनों के भूमिगतकरण एवं एससीएडीए ऑटोमेशन हेतु कुल परियोजना लागत ₹547.73 करोड़ (समानांतर जीबीएस ₹493.05 करोड़ सहित) तथा पी.एम.ए. शुल्क @ 1.5% परियोजना लागत (₹8.22 करोड़, जिसमें जीबीएस ₹7.39 करोड़) के साथ योजना को स्वीकृति प्रदान की गई है |


 इस परियोजना के अंतर्गत ऋषिकेश के महत्वपूर्ण क्षेत्रों में एचटी/एलटी विद्युत लाइनों को भूमिगत किया जाएगा, साथ ही SCADA ऑटोमेशन प्रणाली भी लागू की जाएगी, जिससे बिजली आपूर्ति में पारदर्शिता, निगरानी और त्वरित सुधार की क्षमता विकसित होगी।



उत्तराखण्ड के मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने ऋषिकेश के गंगा कॉरिडोर क्षेत्र में विद्युत लाइनों के भूमिगतकरण एवं ऑटोमेशन के लिए पावर फाइनेंस कॉरपोरेशन लिमिटेड (पीएफसी) द्वारा ₹547.73 करोड़ की परियोजना को अनुमोदित किए जाने पर प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी एवं केंद्रीय ऊर्जा मंत्री श्री मनोहर लाल खट्टर का हार्दिक आभार व्यक्त किया है। मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने इस संबंध में केंद्र सरकार से अनुरोध किया था | 

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 *" ऋषिकेश जैसे आध्यात्मिक, पर्यटन और कुम्भ क्षेत्र के लिए यह परियोजना न केवल विद्युत व्यवस्था को सुदृढ़ बनाएगी, बल्कि नगर की सौंदर्यकरण , सुरक्षा और पर्यावरणीय संतुलन में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। उत्तराखण्ड सरकार इस परियोजना को समयबद्ध रूप से लागू करने के लिए पूर्ण प्रतिबद्धता के साथ कार्य करेगी, जिससे प्रदेशवासियों को गुणवत्तापूर्ण, सतत और सुरक्षित विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित हो सके।"* 


 *मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी*


*आपदा में मृत्यु होने के 72 घंटे में आर्थिक सहायता देने के मुख्यमंत्री धामी के स्पष्ट निर्देश*


*सचिव आपदा प्रबंधन एवं उपाध्यक्ष की जनपदों के साथ बैठक* 


देहरादून:


  मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने जनपदों को स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि आपदा के दौरान किसी भी व्यक्ति की मृत्यु के पश्चात अनुग्रह राशि का वितरण 72 घंटे में प्रभावित परिवार/मृतक आश्रित को अनिवार्य रूप से कर दिया जाए। इसमें किसी भी प्रकार देरी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। यदि मृतक की शिनाख्त या अन्य किसी कारण से कुछ विलंब हो रहा हो तो एक सप्ताह के भीतर अनिवार्य रूप से अनुग्रह राशि मृतक के आश्रित को हर हाल में उपलब्ध कराना सुनिश्चित किया जाए। गुरुवार को माननीय मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर सचिव आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास श्री विनोद कुमार सुमन ने सभी जनपदों के जिलाधिकारियों के साथ बैठक कर माननीय मुख्यमंत्री जी द्वारा अनुग्रह राशि वितरण के संबंध में दिए गए निर्देशों से अवगत कराया। 

सचिव आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास श्री सुमन ने बताया कि  मुख्यमंत्री  ने आगामी कुछ दिनों में मौसम विज्ञान विभाग द्वारा जारी ऑरेंज अलर्ट को देखते हुए सावधानी बरतने तथा नदी, नालों के जल स्तर पर नियमित रूप से निगरानी रखने के निर्देश दिए हैं। इस दौरान उन्होंने जिलाधिकारियों के साथ वर्चुअल बैठक के माध्यम से मानसून से उत्पन्न स्थितियों की समीक्षा की। उन्होंने सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि मानसून अवधि में अब तक हुई विभागीय क्षति का आकलन कर जल्द से जल्द इसकी विस्तृत रिपोर्ट शासन को भेजने के निर्देश दिए ताकि एसडीआरएफ तथा एसडीएमएफ मद में भारत सरकार से अतिरिक्त धनराशि प्राप्त करने हेतु प्रस्ताव यथाशीघ्र भेजा जा सके।

श्री विनोद कुमार सुमन ने एसडीआरएफ, नॉन एसडीआरएफ, एसडीएमएफ में खर्च की गई धनराशि के बारे में भी जनपदों से जानकारी ली। उन्होंने कहा कि  मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी  के स्पष्ट निर्देश हैं कि जनपदों के पास आपदा राहत/बचाव तथा पुनर्निर्माण के लिए पर्याप्त धनराशि उपलब्ध है, इसे हर हाल में समय पर खर्च किया जाए। उन्होंने कहा कि माननीय मुख्यमंत्री जी प्रदेश भर में अतिवृष्टि से उत्पन्न स्थिति पर लगातार नजर बनाए हुए हैं, तथा जनपदों को लगातार माननीय मुख्यमंत्री जी द्वारा मानसून अवधि की चुनौतियों का सामना करने के लिए निर्देश दिए जा रहे हैं।

इस अवसर पर बैठक में ऑनलाइन जुड़े राज्य सलाहकार समिति, आपदा प्रबंधन विभाग के माननीय उपाध्यक्ष श्री विनय कुमार रुहेला ने कहा कि अभी भी मानसून अवधि का डेढ़ महीना शेष है, ऐसे में सभी जनपदों को हर समय अलर्ट रहने की आवश्यकता है। उन्होंने भूस्खलन संभावित क्षेत्रों तथा नदियों के साथ ही अन्य संवेदनशील स्थानों में आम जनमानस की जागरूकता तथा उन्हें अलर्ट करने के लिए साइनेज अनिवार्य रूप से लगाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि आपदाओं का सामना करने के लिए प्रत्येक स्तर पर अलर्टनेस बहुत जरूरी है तभी हम जान माल के नुकसान को कम कर सकते हैं। 

उन्होंने सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि आपदा प्रबंधन के दृष्टिकोण से सभी जनपदों में हर रोज समीक्षा बैठक की जाए। साथ ही स्कूली तथा कॉलेज के छात्र-छात्राओं, के साथ ही व्यापारियों का भी वाट्सएप गु्रप बनाया जाए। इस अवसर पर एसीईओ प्रशासन/अपर सचिव श्री आनंद स्वरूप, एसीईओ क्रियान्वयन डीआईजी श्री राजकुमार नेगी, डॉ. पूजा राणा, श्री रोहित कुमार, श्री हेमंत बिष्ट, डॉ. वेदिका पन्त, श्रीमती तंद्रीला सरकार आदि मौजूद थे। 


*प्रत्येक तहसील में होगा रेस्क्यू व्हीकल*


देहरादून। सचिव आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास श्री विनोद कुमार सुमन ने जनपदों में गठित क्विक रिस्पांस टीमों को लेकर भी जानकारी ली। उन्होंने कहा कि माननीय मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी की अपेक्षानुसार जनपद स्तर पर प्रत्येक माह की 01, 11 और 21 तारीख को अनिवार्य रूप से बैठक कर इसका कार्यवृत्त यूएसडीएमए के साथ साझा किया जाए। साथ ही उन्होंने हर तहसील के लिए एक रेस्क्यू व्हीकल क्रय करने के निर्देश दिए, जिसका उपयोग आपदाओं के दौरान राहत एवं बचाव कार्यों के लिए किया जाएगा।


*जल्द आएगी भारत सरकार की टीम, तैयारी के निर्देश*

 

देहरादून:


 सचिव आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास श्री विनोद कुमार सुमन ने बताया कि जल्द ही भारत सरकार की सात सदस्यीय टीम प्रदेश में अतिवृष्टि तथा आपदा से हुए नुकसान का जायजा लेने के लिए आने वाली है। उन्होंने सभी जिलाधिकारियों को पूर्व से ही सभी तैयारियां करने के निर्देश दिए हैं, ताकि भारत सरकार के सामने आपदा से हुई क्षति की वास्तविक स्थिति रखी जा सके। उन्होंने कहा कि भारत सरकार के अधिकारियों का यह दौरा अत्यंत महत्वपूर्ण है, क्योंकि इसी के आधार पर भारत सरकार से क्षतिपूर्ति हेतु धनराशि प्राप्त होगी।


*टिहरी बांध से जल छोड़ने पर एलर्ट रहें अधिकारी*


देहरादून। सचिव आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास श्री विनोद कुमार सुमन ने कहा कि इन दिनों टिहरी बांध से पानी छोड़ा जा रहा है। उन्होंने टिहरी के जिलाधिकारी को निर्देश दिए कि पानी छोड़े जाने की सूचना देहरादून तथा हरिद्वार जनपद को समय पर दी जाए। साथ ही उन्होंने देहरादून तथा हरिद्वार जनपद को निर्देश दिए कि लगातार गंगा नदी के जलस्तर की निगरानी की जाए और आवश्यकतानुसार सुरक्षात्मक कदम उठाए जाएं।


*प्रत्येक व्यक्ति तक एलर्ट पहुंचाना यएसडीएमए का लक्ष्य*


देहरादून:


सचिव आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास ने मानसून अवधि में अब तक हुई क्षति को लेकर भी जनपदों से जानकारी ली। उन्होंने जनहानि, पशु हानि, भवनों को हुई क्षति के बारे में पूछा तथा आपदा प्रभावितों को वितरित की गई धनराशि की जानकारी ली। उन्होंने कहा कि माननीय मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी के स्पष्ट निर्देश हैं कि अहेतुक सहायता वितरण में बिल्कुल भी विलंब न किया जाए। साथ ही उन्होंने राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र से भेजे जा रहे विभिन्न अलर्ट्स तथा चेतावनियों का जनपद स्तर पर बनाए गए व्हाट्सएप ग्रुप के माध्यम से प्रसारण की जानकारी ली। उन्होंने कहा कि व्हाट्सएप ग्रुप में प्रत्येक गांव के प्रधान, सरपंच के अलावा कम से कम 20 लोग जुड़े हों। उन्होंने कहा कि माननीय मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देशानुसार उत्तराखण्ड राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण राज्य के प्रत्येक नागरिक को विभिन्न प्रकार के अलर्ट तथा सूचनाओं उपलब्ध कराए जाने के लिए प्रतिबद्ध है और इस दिशा में जनपदों की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है।

*धनराशि का ब्यौरा मांगा,  हेलीपैडों का ऑडिट किया जाएगा*


देहरादून:


 इस अवसर पर अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी प्रशासन श्री आनंद स्वरूप ने कहा कि जनपदों में आपदा संबंधी सूचनाएं हर वक्त अपडेट रहनी चाहिए ताकि भारत सरकार तथा गृह मंत्रालय द्वारा जब भी सूचनाओं की मांग की जाती है, उन्हें तुरंत ही उपलब्ध करा दिया जाए। साथ ही उन्होंने जनपदों द्वारा खर्च की गई धनराशि को लेकर रिपोर्ट भेजने तथा आवश्यकता होने पर अतिरिक्त धनराशि के लिए प्रस्ताव शासन को भेजने को कहा। अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी क्रियान्वयन डीआईजी श्री राजकुमार नेगी ने कहा कि धराली आपदा से सबक लेते हुए सभी जनपदों को नदियों के किनारे संवेदनशील रिहायशी क्षेत्रों को चिन्हित करते हुए अलर्ट मेकैनिज्म डेवलप करना चाहिए। साथ ही उन्होंने सभी जनपदों में ऐसे सभी हेलीपैडों ऑडिट करने का सुझाव दिया जो इस्तेमाल नहीं हो रहे हैं ताकि किसी आकस्मिक स्थिति में उन्हें तुरंत उन्हें एक्टिवेट किया जा सके।

मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने आज नई दिल्ली में केंद्रीय युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्री डॉ. मनसुख मांडविया से भेंट कर राज्य में खेलों के व्यापक विकास, उच्च स्तरीय खेल अवस्थापना के निर्माण तथा खिलाड़ियों को विश्वस्तरीय प्रशिक्षण एवं सुविधाएं उपलब्ध कराने के उद्देश्य से कई महत्वपूर्ण प्रस्तावों पर चर्चा की और केंद्र सरकार से सहयोग का अनुरोध किया।


मुख्यमंत्री ने 38वें राष्ट्रीय खेलों के सफल आयोजन में केंद्र सरकार से प्राप्त सहयोग के लिए प्रदेशवासियों की ओर से हार्दिक आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि इस खेल महाकुंभ ने उत्तराखण्ड को एक नई पहचान दिलाई है। इस आयोजन के माध्यम से उत्तराखण्ड ने स्वयं को एक ‘खेलभूमि’ के रूप में प्रस्तुत करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाया है।


मुख्यमंत्री ने केंद्रीय मंत्री से जिला अल्मोड़ा के डीनापानी में उच्च स्तरीय खेल सुविधा की स्थापना, देहरादून स्थित महाराणा प्रताप स्पोर्ट्स कॉलेज परिसर में आईस स्केटिंग रिंग का संचालन, जिला नई टिहरी में साहसिक प्रशिक्षण केन्द्र का उच्चीकरण,  चंपावत के महिला स्पोर्ट्स कॉलेज में इंडोर आर्टिफिशियल रॉक क्लाइम्बिंग की सुविधा और राज्य के 95 विकासखण्डों में बहुउद्देशीय क्रीड़ाहॉल के निर्माण के प्रस्ताव स्वीकृत किये जाने का अनुरोध किया। 


मुख्यमंत्री ने यह भी जानकारी दी कि उत्तराखण्ड में राज्य का प्रथम खेल विश्वविद्यालय स्थापित किया गया है, जो राज्य एवं देश के खिलाड़ियों को प्रशिक्षण के साथ-साथ खेल से संबंधित शैक्षणिक कोर्सेज़ की सुविधा भी प्रदान करेगा। उन्होंने इस विश्वविद्यालय को एक अग्रणी खेल संस्थान के रूप में विकसित करने हेतु केंद्र सरकार से आवश्यक सहयोग और यथासंभव आर्थिक सहायता/अनुदान प्रदान करने का आग्रह किया।


केंद्रीय मंत्री डॉ. मनसुख मांडविया ने हर सम्भव सहयोग के प्रति मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी को आश्वस्त किया।


-भारत सरकार के वाणिज्य सचिव श्री सुनील बर्थवाल ने सेब की खेप को हरी झंडी दिखाकर किया रवाना



-कृषि और प्रसंस्कृत खाद्य उत्पाद निर्यात विकास प्राधिकरण (एपीडा) के सहयोग से उत्तराखंड के किसानों को अंतरराष्ट्रीय बाजारों तक पहुँचाने की पहल


-एपीडा शीघ्र ही देहरादून में अपना क्षेत्रीय कार्यालय भी खोलेगा


-निर्यात में सेब के साथ बासमती, मोटे अनाज, शहद, फल व सब्जियों पर भी रहेगा फोकस




देहरादून : वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के वाणिज्य विभाग के सचिव श्री सुनील बर्थवाल ने गुरुवार को देहरादून से दुबई के लिए 1.2 मीट्रिक टन गढ़वाली सेब (किंग रोट किस्म) की पहली परीक्षण खेप को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। यह परीक्षण खेप कृषि एवं प्रसंस्कृत खाद्य उत्पाद निर्यात विकास प्राधिकरण (एपीडा) के सहयोग से संभव हो पाई, जो भारत सरकार के वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के अंतर्गत कार्यरत है। यह पहल उत्तराखंड से कृषि निर्यात को बढ़ावा देने की दिशा में एक और महत्वपूर्ण कदम है।


दुबई के लिए गढ़वाली सेब की यह पहली खेप एक आशाजनक यात्रा की शुरुआत है। इस परीक्षण से प्राप्त अनुभव शीत श्रृंखला प्रबंधन, फसल-उपरांत संचालन तथा लॉजिस्टिक ढांचे को और बेहतर बनाने में मदद करेंगे। एपीडा और उत्तराखंड सरकार के संयुक्त प्रयासों से अधिक किसानों के समूह लाभान्वित होंगे तथा आने वाले वर्षों में निर्यात गंतव्य दक्षिण-पूर्व एशिया और यूरोप तक भी विस्तारित किए जाने की संभावना है।


हितधारकों से बातचीत के दौरान वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय, भारत सरकार के वाणिज्य सचिव श्री सुनील बर्थवाल ने भारत की कृषि-निर्यात टोकरी में विविधता लाने तथा गढ़वाली सेब जैसे विशिष्ट, क्षेत्रीय उत्पादों को अंतरराष्ट्रीय उपभोक्ताओं तक पहुँचाने के महत्व पर प्रकाश डाला। उन्होंने एपीडा, उत्तराखंड सरकार, निर्यातकों और किसान समूहों के समन्वित प्रयासों की सराहना की, जिन्होंने इस ऐतिहासिक निर्यात को संभव बनाया।


उन्होंने बताया कि केंद्र सरकार किसानों की आय बढ़ाने के लिए जैविक खेती एवं जैविक निर्यात को बढ़ावा देने, कृषि उत्पादों में मूल्य संवर्द्धन करने और विकसित एवं उच्च मूल्य वाले बाजारों में कृषि एवं प्रसंस्कृत खाद्य उत्पादों के निर्यात को प्रोत्साहित करने के लिए ठोस प्रयास कर रही है। उन्होंने उत्तराखंड से बासमती चावल, मोटे अनाज, राजमा, मसाले, सुगंधित पौधे, शहद, सेब, कीवी, आम, लीची, आड़ू तथा सेम, मटर, करेला, आलू आदि सब्जियों जैसे उत्पादों के निर्यात में भारी संभावनाओं की ओर संकेत किया। साथ ही एपीडा को राज्य में शीघ्र कार्यालय खोलने का निर्देश दिया और सभी हितधारकों से वैश्विक कृषि निर्यात में उत्तराखंड की भागीदारी बढ़ाने के लिए मिलकर कार्य करने का आह्वान किया।


यह खेप उत्तराखंड की कृषि-निर्यात प्रणाली को सुदृढ़ करने के लिए एपीडा के व्यापक रोडमैप का हिस्सा है। आगे चलकर प्राधिकरण का ध्यान राज्य के बाजरे, मोटे अनाज, जैविक उत्पादों, दलहनों, खट्टे फलों, कीवी, जड़ी-बूटियों और औषधीय पौधों के निर्यात को बढ़ावा देने पर होगा। किसानों और निर्यातकों को निकटतम सहयोग प्रदान करने हेतु एपीडा शीघ्र ही देहरादून में एक क्षेत्रीय कार्यालय स्थापित करेगा।


एपीडा उत्तराखंड-विशिष्ट उत्पादों की वैश्विक पहचान, अनुरेखण और प्रतिस्पर्धात्मकता बढ़ाने के लिए जैविक प्रमाणन और जीआई टैगिंग की सुविधा भी उपलब्ध करा रहा है। क्षेत्रीय उत्पादों को अंतरराष्ट्रीय खुदरा श्रृंखलाओं में निर्यात परीक्षण हेतु लुलु समूह के साथ एक समझौता ज्ञापन भी हस्ताक्षरित किया गया है।


निर्यात संवर्द्धन के साथ-साथ एपीडा देहरादून स्थित सेंटर फॉर एरोमैटिक प्लांट्स के सहयोग से वृक्षारोपण अभियान भी चला रहा है। एक पायलट परियोजना के तहत पौड़ी जिले में 2,200 तिमरू के पौधे लगाए गए हैं, जिससे सतत खेती को प्रोत्साहन मिलेगा और भविष्य में निर्यात की संभावनाएँ भी बढ़ेंगी।


वित्त वर्ष 2024–25 के दौरान, पूरे भारत से एपीडा-निर्धारित उत्पादों का निर्यात ₹2,43,004.89 करोड़ रहा, जिसमें उत्तराखंड का योगदान ₹201 करोड़ का रहा। अब तक राज्य से मुख्य रूप से गुड़, कन्फेक्शनरी और ग्वारगम का निर्यात किया गया है। हालांकि, एपीडा ताजे फलों, मोटे अनाज और जैविक उत्पादों जैसे नए क्षेत्रों में तेजी से विविधीकरण कर रहा है।


उत्तराखंड सरकार और हितधारकों की लगातार माँग को पूरा करते हुए एपीडा राज्य की राजधानी देहरादून में अपना कार्यालय शीघ्र ही उपसक भवन, आईटी पार्क के पास सहस्रधारा रोड पर खोलेगा।


“देवभूमि” उत्तराखंड विविध कृषि-जलवायु परिस्थितियों और उपजाऊ मिट्टी से संपन्न है, जो उच्च गुणवत्ता वाली बागवानी फसलों की खेती के लिए उपयुक्त है। पौड़ी गढ़वाल की पहाड़ियों में उगने वाले सेब, विशेष रूप से किंग रोट किस्म, अपने कुरकुरेपन, स्वाद और प्राकृतिक मिठास के लिए प्रसिद्ध हैं। इसके बावजूद, बागवानों को अक्सर अंतरराष्ट्रीय बाजारों तक पहुँचने में आधारभूत ढाँचे, संपर्क और फसल-उपरांत प्रबंधन की चुनौतियों का सामना करना पड़ता है।


इस कमी को ध्यान में रखते हुए एपीडा राज्य सरकार, निर्यातकों और किसान समूहों के साथ मिलकर सतत निर्यात मार्ग विकसित कर रहा है। प्राधिकरण ने किसानों को गुड एग्रीकल्चरल प्रैक्टिस (GAPs), अंतरराष्ट्रीय गुणवत्ता मानकों और फसल-उपरांत प्रबंधन तकनीकों पर प्रशिक्षित किया है। तकनीकी सहयोग से किसानों में अंतरराष्ट्रीय खरीदारों की कड़ी आवश्यकताओं को पूरा करने का आत्मविश्वास आया है।


यह ऐतिहासिक उपलब्धि न केवल पौड़ी गढ़वाल के सेब उत्पादकों के लिए गर्व का विषय है, बल्कि उत्तराखंड को भारत की कृषि-निर्यात टोकरी का एक महत्वपूर्ण योगदानकर्ता बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम भी है।


इस अवसर पर एपीडा के अध्यक्ष श्री अभिषेक देव, उत्तराखंड सरकार की अपर सचिव सुश्री झरना कमठान, सेंटर फॉर एरोमैटिक प्लांट्स के निदेशक डॉ. नृपेंद्र चौहान सहित एपीडा एवं उत्तराखंड सरकार के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे और किसानों का सहयोग करने तथा राज्य के उत्पादों को वैश्विक बाजार में प्रोत्साहित करने की सामूहिक प्रतिबद्धता को दोहराया।

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