उत्तराखंड मे सरकारी स्वास्थ्य सेवाओ की खुली पोल बालिका का हाथ टूटने पर चिकित्सकों ने गत्ते का प्लास्टर बाँधा
पौडी गढवाल :
उत्तराखंड मे सरकारी अस्पताल आज भी बदाल हालत है । ऐसा ही मामला जिला पौड़ी के रिखणीखाल चिकित्सा केन्द्र का है । जहां चिकित्सकों ने बालिका का हाथ टूटने पर उसे गत्ते का प्लास्टर बना कर घर भेज दिया चिकित्सकों की दलील थी कि हमारे पास एक्सरे मशीन चलाने के लिए कर्मचारी नही हैं और ऑर्थोपेडिक चिकित्सक नही हैं.
इस लिए आप को इस जुगाड़ में रहना होगा। सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र रिखणीखाल सदैव सुर्खियों में रहा है.
रिखणीखाल हॉस्पिटल में एक्सरे मशीन आये 1 वर्ष हो गए जिस का प्रचार 2 वर्ष से हो रहा हैं। पेटी में बंद मशीनों के फोटो आप ने अनेकों बार छुट भुला व ठुल भैजी के साथ सोशलमीडिया पर देखी होगी।
पर मशीनों का इस्तेमाल करता कोई कर्मचारी देखा होगा। हम ने उस वक्त भी कहा आज भी कह रहे है।
एक्सरे मशीन चलाने के लिए तकनीकी कर्मचारी चाहिए और एक्सरे देखने के लिए ऑर्थोपेडिक चिकित्सक की आवश्यकता हैं। पर मशीनों को उच्च दामों पर खरीद कमीशन के पैसे डकारने की होड़ मची थी। लाखों का सामान करोड़ो में खरीदा गया अब मशीन धूल खा रही हैं और मरीज मर रहे हैं।
यह कोई अफसोस की बात नही हैं अब जनता को आदत पड़ गई हैं और लगता है कर्मचारियों जनप्रतिनिधियों को इस आदत की लत लग गई हैं। परन्तु भुगतना तो बीमार या दुर्घटनाग्रस्त व्यक्ति को पड रहा है।
Post a Comment