मुख्यमंत्री ने यूजेवीएनएल को स्थापना दिवस की दी बधाई
यूजीवीएनएल द्वारा वर्ष 2020-21 में अर्जित लाभांश के रूप में मुख्यमंत्री को सौंपी 25 करोड़ की धनराशि।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी रविवार को उत्तराखण्ड जल विद्युत निगम के स्थापना दिवस समारोह में सामिल हुए। मुख्यमंत्री तथा ऊर्जा मंत्री डॉ. हरक सिंह रावत ने दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारम्भ किया।
यूजेवीएनएल को स्थापना दिवस की शुभकामना देते हुए मुख्यमंत्री ने ऊर्जा कर्मियों से प्रदेश को ऊर्जा प्रदेश बनाने में सहयोगी बनने तथा जल विद्युत योजनाओं के क्रियान्वयन में तेजी लाये जाने की अपेक्षा की।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य निर्माण के समय राज्य के ऊर्जा क्षेत्र को आर्थिकी का आधार माना गया था किन्तु पिछले कुछ सालों में इस दिशा में प्रगति कुछ धीमी रह गई। हम इस दिशा में कैसे तेजी से आगे बढ़ सके, इस दिशा में प्रयास किये जाने होंगे। इस दिशा में इस क्षेत्र से जुड़े अनुभवी लोगों का भी सहयोग लिये जाने की बात मुख्यमंत्री ने की।
उन्होंने कहा कि विकास योजनाओं को समय पर पूरा करने के लिये किये जाने वाले प्रयासों के लिये हमें हर समय शिक्षार्थी बनना होगा। हमें अपने विभाग व संस्थानों की अच्छाई के साथ प्रगति की दिशा में बाधक बनने वाली समस्याओं के निराकरण पर भी ध्यान देना चाहिए। लक्ष्य प्राप्ति में कहां कमी रह गई इस पर भी चिन्तन की उन्होंने जरूरत बतायी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार जीरो पेंडेसी पर विशेष ध्यान दे रही है। इसके लिये हर क्षेत्र के लिये सरलीकरण, समाधान एवं निस्तारण तीन मूल मंत्र निर्धारित किये गये हैं। कोई भी फाइल हो इसका निस्तारण निर्धारित समय सीमा के अन्दर हो जाना चाहिए। इसका सभी को ध्यान रखना होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमें अपने दायित्वों के निर्वहन में सूर्य को अपना प्रेरणा स्त्रोत बनाना होगा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने राज्य के विकास का विजन दिया है। प्रधानमंत्री ने 21 वीं सदी के तीसरे दशक को उत्तराखण्ड का दशक बताया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि 2025 तक हमारा राज्य हर क्षेत्र में विकसित सक्षम व आदर्श राज्य बने इसके लिये भी हम सबको सहायोगी बनाना होगा।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने खटीमा विद्युत गृह को बेस्ट परफार्मिंग पावर हाउस तथा व्यासी जल विद्युत परियोजना को बेस्ट अंडर कंस्ट्रक्शन परफार्मिंग प्रोजेक्ट का एवार्ड प्रदान करते हुए कहा कि खटीमा जल विद्युत गृह के लोहिया हेड से उनका नाता रहा है। बचपन में उसी क्षेत्र के स्कूल में उन्होंने पढ़ाई की है।
इस अवसर पर ऊर्जा मंत्री डॉ. हरक सिंह रावत ने ऊर्जा कर्मियों से ऊर्जावान बनने की अपेक्षा करते हुए कहा कि जहां अन्य निगम सरकार से मांगते हैं वहीं यूजेवीएनएल सरकार को देने वाला निगम है। उन्होंने निगम को ऊर्जा के क्षेत्र में बड़े सपने देखने की सीख भी दी। ऊर्जा मंत्री ने कहा कि हमारा प्रयास दिसम्बर में व्यासी परियोजना का लोकार्पण तथा लखवाड़ परियोजना का शिलान्यास प्रधानमंत्री के द्वारा कराये जाने का है। उन्होंने मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी को युवा मुख्यमंत्री बताते हुए कहा कि उनके मार्गदर्शन में प्रदेश के ऊर्जा क्षेत्र को भी नई ऊर्जा मिलेगी। उन्होंने ऊर्जा को जीवन का भी हिस्सा बताया।
प्रबंध निदेशक यूजेवीएनएल श्री संदीप सिंघल ने यूजेवीएनएल के कार्यकलापों की जानकारी दी तथा मुख्यमंत्री को निगम के लाभांश का 25 करोड़ का चेक भेंट किया।
इस अवसर पर अध्यक्षा यूजेवीएनएल श्रीमती राधा रतूड़ी, इलेक्ट्रिसिटी ओम्बड्समैन श्री सुभाष कुमार, प्रबंध निदेशक यूपीसीएल श्री अनिल कुमार आदि उपस्थित थे।
आत्मनिर्भर उत्तराखण्ड बोधिसत्व विचार श्रृंखला को मुख्यमंत्री ने किया वर्चुवली सम्बोधित।
*उत्तराखण्ड के 25 वर्ष के स्वरूप पर विचार श्रृंखला में विषय विशेषज्ञों ने रखे अपने विचार।*
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने रविवार को देर सांय मुख्यमंत्री आवास में वर्चुवली आत्मनिर्भर उत्तराखण्ड बोधिसत्व विचार श्रृंखला को सम्बोधित किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य स्थापना के दो दशक के बाद उत्तराखण्ड युवा राज्य बन चुका है। पिछले दो दशकों में राज्य के विकास के लिये सतत् प्रयत्न किये गये हैं, जिनका असर धरातल पर दिखाई भी दे रहा है। इन दशकों में राज्य के विकास का आधारभूत ढ़ांचा बनाने के लिये भी कई पहलुओं पर प्रयोग हुए हैं। प्रदेश के सर्वागीण विकास के लिये एक दूरगामी योजना बनाने के लिये समाज के विभिन्न वर्ग के लोगों एवं विषय विशेषज्ञों को सहयोगी बनाने का हमारा प्रयास है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे लोगों ने देश व दुनिया में अनेक क्षेत्रों में अपनी प्रतिभा एवं योग्यता से अपनी पहचान बनायी है। हमारा प्रयास है कि समाज के अन्तिम पंक्ति में खड़े व्यक्ति तक विकास का लाभ पहुंचे, विकास में उसकी भागीदारी सुनिश्चित हो, इसके लिये राज्य के सर्वागीण विकास की रूपरेखा के निर्धारण में विभिन्न क्षेत्रों के विषय विशेषज्ञों एवं प्रबुद्धजनों को सहयोगी बनाये जाने का हमारा प्रयास है। इसके लिये इस विचार श्रृंखला की शुरूआत की गई है।
उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि बोधिसत्व विचार श्रृंखला के मंथन से निकलने वाला अमृत राज्य के लिये हितकारी होगा। उन्होंने कहा कि विचार श्रृंखला में प्राप्त सुझावों के आधार पर कार्ययोजना तैयार की जायेगी।
इस विचार श्रृंखला में जिन विषय विशेषज्ञों ने अपने विचार एवं सुझाव दिये उनमें पदमश्री कल्याण सिंह रावत, डॉ. दिनेश असवाल निदेशक भाभा परमाणु अनुसंधान, प्रो. अन्नपूर्णा नोटियाल कुलपति हेमवती नन्दन बहुगुणा गढ़वाल विश्वविद्यालय, श्री मानवेन्द्र सिंह नेगी संस्थापक मन्दाकिनी आवाज, श्री सुधीर पंत, फिक्की फार स्टार्टअप, श्री प्रहलाद सिंह अधिकारी तकनीकि विशेषज्ञ, डॉ. किशन सिंह राणा, ग्रामीण विकास, डॉ. सिद्धार्थ पाटनी सामुदायिक स्वास्थ्य, प्रो. जे.के.जोशी, प्रो. एस.ए.हामिद भाषा एवं साहित्य विशेषज्ञ प्रमुख रहे।
कार्यक्रम के संयोजन एवं मुख्यमंत्री के सलाहकार प्रो. दुर्गेश पंत ने बताया कि इस सम्बन्ध में इस माह के अन्तिम सप्ताह में बृहद स्तर पर सेमिनार का भी आयोजन किया जायेगा, जिसमें विभिन्न क्षेत्रों के विशेषज्ञों नीति आयोग के सदस्यों के साथ अन्य प्रतिष्ठित संस्थानों के विशेषज्ञों को आमंत्रित किया जायेगा।
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