पुरोला
गजेन्द्र सिंह चौहान
पुरोला के आसपास के गांवों में चल रहा है सर्वे का द्वितीय चरण का काम
अल्फा जिओ इंडिया लिमिटेड हैदराबाद की कंपनी एवम ओएनजीसी के संयुक्त सर्वेक्षण के अंतर्गत उत्तराखंड के तलछटी घाटियों में 2-D भूकम्पीय सर्वेक्षण में हाईड्रोकार्बन एक्सप्लोरेशन एवम प्राकृतिक गैस और तेल की संभावना तलाशी जा रही हैं,पहाड़ों की तलहटियों में सदियों से कुछ न कुछ प्राकृतिक संसाधन भूमि के अंदर छुपे हैं।हिमालयन तलछटी घाटियां अवसादी चट्टानों के भंडार है जिससे जाहिर होता है कि यंहा प्रकृति हाईड्रोकार्बन और प्राकृतिक गैस एवं ऑइल के स्रोत संभव हैं।
यह जानकारी देते हुए कंपनी के सुपरवाइजर संकर चंद ने बताया है कि पूरे क्षेत्र में इस कार्य मे 7 ग्रुप लगे हैं कुल लगभग 250 से अधिक लोग कार्य मे लगे इससे पूर्व हिमांचल के विलासपुर में कार्य हुआ हैं,उन्होंने बताया कि हर 60 मी0 की दूरी पर सॉर्ट पॉइंट एवम हर 20 मी0 की दूरी पर रिसीवर पॉइंट ड्रील किये जा रहे हैं जिनकी गहराई 22मी0 होगी,ओर इस प्रकार से यह ड्रील होते जाएंगे जो ब्रमखाल होते हुए ऋषिकेश तक बनेंगे,उसके बाद दूसरी टेक्निकल टीम आगे के कार्यों में लगेगी।
गजेन्द्र सिंह चौहान
पुरोला के आसपास के गांवों में चल रहा है सर्वे का द्वितीय चरण का काम
अल्फा जिओ इंडिया लिमिटेड हैदराबाद की कंपनी एवम ओएनजीसी के संयुक्त सर्वेक्षण के अंतर्गत उत्तराखंड के तलछटी घाटियों में 2-D भूकम्पीय सर्वेक्षण में हाईड्रोकार्बन एक्सप्लोरेशन एवम प्राकृतिक गैस और तेल की संभावना तलाशी जा रही हैं,पहाड़ों की तलहटियों में सदियों से कुछ न कुछ प्राकृतिक संसाधन भूमि के अंदर छुपे हैं।हिमालयन तलछटी घाटियां अवसादी चट्टानों के भंडार है जिससे जाहिर होता है कि यंहा प्रकृति हाईड्रोकार्बन और प्राकृतिक गैस एवं ऑइल के स्रोत संभव हैं।
यह जानकारी देते हुए कंपनी के सुपरवाइजर संकर चंद ने बताया है कि पूरे क्षेत्र में इस कार्य मे 7 ग्रुप लगे हैं कुल लगभग 250 से अधिक लोग कार्य मे लगे इससे पूर्व हिमांचल के विलासपुर में कार्य हुआ हैं,उन्होंने बताया कि हर 60 मी0 की दूरी पर सॉर्ट पॉइंट एवम हर 20 मी0 की दूरी पर रिसीवर पॉइंट ड्रील किये जा रहे हैं जिनकी गहराई 22मी0 होगी,ओर इस प्रकार से यह ड्रील होते जाएंगे जो ब्रमखाल होते हुए ऋषिकेश तक बनेंगे,उसके बाद दूसरी टेक्निकल टीम आगे के कार्यों में लगेगी।
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