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भाजपा ने कांग्रेस के घोषणा पत्र को मुस्लिम लीग के घोषणा पत्र से प्रेरित और स्वाभाविक बताते हुए कहा कि कांग्रेस की अतीत से लेकर वर्तमान तक एक समुदाय के हित मे तुष्टिकरण की नीति रही है और उसके घोषणा पत्र ने फिर इसे साबित कर दिया है। वहीं सच सामने आने पर वह बौखला गयी है। 


पार्टी के प्रदेश मीडिया प्रभारी मनवीर सिंह चौहान ने सीएम के बयान का समर्थन और कांग्रेस अध्यक्ष के बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि अल्पसंख्यकों की तुष्टि के लिए बहुसंख्यकवाद का विरोध, मुस्लिम पर्सनल लॉ का समर्थन, CAA का विरोध, धारा 370 की वापिसी अनगिनत वादे कांग्रेस ने  मुस्लिम लीग के इस पत्र में साझा किए हैं। देवभूमि की सनातन संस्कृति और राष्ट्रवादी जनता उन्हे बहुसंख्यक समाज के प्रति अन्याय पत्र जारी करने के पाप का जवाब उनके उम्मीदवारों की जमानत जब्त कर देगी।

उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी  ने कांग्रेस के न्याय पत्र को लेकर जो कहा वह पूर्णतया सत्य है, जिसका स्वयं कांग्रेस ने अपने घोषणा पत्र में भी जिक्र किया है। आज देश की तरह प्रदेश के कांग्रेस नेताओं को भी अपनी जीत का भरोसा दूर-दूर तक नहीं है । यही वजह है कि जिस तरह उनके राष्ट्रीय नेतृत्व ने मुस्लिम लीग और वामपंथी विचारकों के सहयोग से अपना घोषणा पत्र बनाया है उतनी ही गैर जिम्मेदाराना ढंग से उनके राज्य प्रतिनिधि इस पत्र को ले रहे हैं । लगता है कांग्रेस अध्यक्ष ने अपने घोषणा पत्र को पढ़ना भी जरूरी नहीं समझा। इस तरह सबसे पहले तो उन्होंने ही अपने तथाकथित न्याय पत्र के साथ ही अन्याय किया है । कांग्रेस बहुसंख्यक वाद का विरोध करती हैं अर्थात अल्पसंख्यकवाद तुष्टिकरण की नीति से परहेज नहीं है लेकिन बहुसंख्यक हित नही चलेगा।

 भाजपा ने सबका साथ और सबका विकास के नारे के साथ देश को आगे बढ़ाने का संकल्प लिया, लेकिन कांग्रेस की तुष्टिकरण और वर्ग विशेष के प्रति प्रेम जगजाहिर है। आज मोदी के काल मे समाज के हर वर्ग को योजनाओं का लाभ समान रूप से मिल रहा है। स्वास्थ्य, शिक्षा और बुनियादी सुविधाएं सबको समान रूप से मिल रही है। 


उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने वोट बैंक की खातिर तुष्टिकरण की नीति को आगे बढ़ाया और समय के साथ अब उसे इसका खामियाजा भी उठाना पड़ रहा है। तुष्टिकरण की नीति और सेकुलर दिखने की फिराक मे वह सनातन विरोध तक उतर आयी। कांग्रेस राम राज की कल्पना पर भी एतराज है, क्योकि इससे उसकी तुष्टिकरण की नीति पर चोट लगती है। 


चौहान ने कहा कि 60 साल तक देश पर राज करने वाली कांग्रेस ने इतने साल सनातन के विरोध मे कार्य किया है। तुष्टिकरण मे कांग्रेस इस हद तक उतर आयी कि राम को काल्पनिक बताने के फेर मे सुप्रीम कोर्ट मे वकीलों की फौज उतार दी। कांग्रेस ने एक पक्ष के लिए तुष्टिकरण और दूसरे के साथ भेदभाव किया। 


चौहान ने कहा कि भाजपा के पास केंद्र और राज्य मे उपलब्धियों को गिनाने के अनगिनत मुद्दे हैं और वह सबका साथ सबका विकास के साथ आगे बढ़ रही है। उत्तराखंड मे पिछले 60 साल मे जितना कार्य नही हुआ उससे कहीं अधिक 10 साल मे हुआ। 10 साल मे 2 लाख करोड़ के लगभग कार्य हुए, जबकि कांग्रेस के कार्यकाल मे महज 15 प्रतिशत कार्य भी नही हुआ। चौहान ने कहा कि जनता उसे इस बार भी तुष्टिकरण का दंड देने वाली है। कांग्रेस ने मोदी को तीसरी बार भारी मत से जीत देने का मन बना लिया है।


 वहीं उत्तराखण्ड प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष श्री करन माहरा ने मुख्यमंत्री पुष्कर िंसह धामी द्वारा कांग्रेस के घोषणा पत्र को मुस्लिम लीग का घोषणा पत्र बताये जाने की कड़े शब्दों में निन्दा करते हुए कहा कि भाजपा के नेता आसन्न चुनावी हार को देखते हुए अपना मानसिक संतुलन खो चुके हैं इसीलिए जनता को फिर से धर्म की राजनीति में बांटने का प्रयास कर रहे हैं।



श्री करन माहरा ने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी को कांग्रेस पार्टी के न्याय पत्र पर उंगली उठाने के बजाय अपने कार्यकाल की उपलब्धियां जनता को बतानी चाहिए तथा उन्हें यह भी बताना चाहिए कि भाजपा ने देश एवं राज्य के विकास के लिए कौन सी योजना बनाई। राज्य की बेटी अंकिता भण्डारी की नृसंस हत्या में कौन वीआईपी शामिल था। राज्य में बेरोजगारी के क्या आंकड़े हैं। अग्निवीर योजना से प्रदेश के युवाओं के चौपट हो रहे भविष्य के लिए रोजगार की क्या योजना है।  उन्होंने कहा कि देश और प्रदेश में विकास की गंगा केवल भाजपा के जुमलों में बह रही है जिसका पानी आने वाली 19 अप्रैल को सूख जायेगा।
श्री करन माहरा ने कहा कि कांग्रेस पार्टी झूठी घोषणाओं की बजाय धरातल पर काम करना जानती है। कांग्रेस पार्टी के शासकों ने नरेन्द्र मोदी की तरह केवल अपने मन की बात नहीं की बल्कि समाज के अंतिम छोर पर बैठे व्यक्ति की बात सुनी और उसी के विकास को लक्ष्य बनाकर नीतियां बनाई। 

चुनाव आने पर भाजपा नेताओं की तरह घोषणा पत्र के रूप में झूठे चुनावी जुमलों वाला पुलिंदा प्रचारित नहीं किया बल्कि जनहित से जुड़े मुद्दों को जनता के सामने रखा। जनता को मुफ्तखोरी सिखाने और ग्रामीण व पर्वतीय क्षेत्रों में खेती-पाती खत्म करने के लिए फ्री अनाज का लालच नहीं दिया बल्कि मनरेगा जैसी योजनाओं के माध्यम से लोगों को गांवों में ही रोजगार देकर राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के ग्राम स्वराज की परिकल्पना को स्थापित करने का काम किया।
श्री करन माहरा ने कहा कि समाज को जाति-धर्म में विघटित करने की राजनीति भाजपा करती है कांग्रेस ने धर्म के नाम पर अपनी राजनैतिक रोटियां सेकने की बजाय हमेशा लोकतांत्रिक समाजवाद एवं धर्मनिरपेक्षता की बात करते हुए जनता का समर्थन मांगा। क्योंकि कांग्रेस पार्टी ने देश की आजादी के लिए बलिदान दिये, अंग्रेजों से लम्बी लड़ाई लडी, अंग्रेजों की मुखबरी कर देश की स्वतंत्रता के लिए आन्दोलन कर रहे आन्दोलनकारियों के खिलाफ काम नहीं किया।

। कांग्रेस पार्टी के इतिहास में देश के लिए बलिदान करने वालों और देश को आगे बढाने वालों की लम्बी कतार है। देश में स्थापित संस्थानों जिनको आज सत्ता में बैठे लोग अपने व्यावसायिक मित्रों के हाथों कौड़ियों के भाव बेचकर अपनी पार्टी के लिए चुनावी चंदा वसूली कर रहे हैं, उनके निर्माण में कांग्रेस नेताओं की दूरदृष्टि वाली सोच थी। जबकि सत्ता में बैठी पार्टी ऐसी कोई भी योजना नहीं बता सकती जिसका लाभ जनता को लगातार 10 साल तक भी मिला हो। चुनाव आने पर इनके मुद्दे भी बदल जाते हैं और जुमले भी बदल जाते हैं। परन्तु अब देश की जनता इनकी जुमलेबाजी से आजिज आ चुकी है।  

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