इसके
पश्चात मुख्यमंत्री भराड़ीसैण (गैरसैंण) जायेंगे तथा पूर्वाह्न 11ः50 बजे
विधानसभा भवन भराड़ीसैण में ध्वजारोहण कार्यक्रम तथा विभिन्न विभागीय
योजनाओं के शिलान्यास एवं वृक्षारोपण आदि कार्यक्रमों में प्रतिभाग करेंगे।
अपराह्न 1ः00 बजे कोविड केयर सेन्टर भराड़ीसैण का निरीक्षण करने के बाद
मुख्यमंत्री रात्रि विश्राम मुख्यमंत्री आवास भराड़ीसैण में करेंगे।
रविवार 16 अगस्त को मुख्यमंत्री प्रातः 8ः00 बजे ग्राम सारकोट,
छानी-कोदियाबगड-दूधातोली पैदल मार्ग से पेशावर कांड के नायक वीर चन्द्र
सिंह गढ़वाली जी की समाधि स्थल पर पुष्पांजलि अर्पित करेंगे। ततपश्चात
मुख्यमंत्री जनपद पिथौरागढ़ के आपदा प्रभावित क्षेत्र
गलाती/कालिका/धारचूला/बरम का हवाई सर्वेक्षण कर बरम में आपदा प्रभावित राहत
शिविरों का निरीक्षण करने के बाद वन विश्राम गृह पिथौरागढ़ में अपराह्न
5ः00 बजे पार्टी पदाधिकारियों के साथ बैठक कर रात्रि विश्राम पिथौरागढ़ में
ही करेंगे। मुख्यमंत्री सोमवार को पूर्वाह्न 10ः00 बजे देहरादून वापस
लौटेंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेशवासियों की
भावना का सम्मान करते हुए गैरसैंण को उत्तराखण्ड की ग्रीष्मकालीन राजधानी
बनाया गया है। अब गैरसैण में राजधानी के अनुरूप आवश्यक सुविधाओं के विकास
की कार्ययोजना बनाई जा रही है। भविष्य की आवश्यकताओं, श्रद्धालुओं की
सुविधाओं और इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास की दृष्टि से चारधाम देवस्थानम बोर्ड
का गठन किया गया है। इसमें तीर्थ पुरोहित और पण्डा समाज के लोगों के हक
हकूक और हितों को सुरक्षित रखा गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि
पिछले कुछ समय में कोविड के मामलों में वृद्धि हुई है, परंतु हमारी
तैयारियां पुख्ता है। राज्य में हेल्थ सिस्टम को मजबूत किया गया है। वर्ष
2017 में जहां प्रदेश में केवल 3 जनपदों में आई0सी0यू0 की व्यवस्था थी वहीं
अब राज्य के सभी जनपदों में आई0सी0यू0 स्थापित किए जा चुके हैं। अटल
आयुष्मान योजना में राज्य के सभी परिवारों को 5 लाख रूपए वार्षिक की
निशुल्क चिकित्सा सुविधा देने वाला उत्तराखण्ड, देश का पहला राज्य है। अटल
आयुष्मान योजना में नेशनल पोर्टेबिलिटी की सुविधा देते हुए देशभर के 22
हजार से अधिक अस्पताल इसमें सूचीबद्ध हैं। राज्य के युवाओं और प्रदेश में
लौटे प्रवासियों के लिए मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना लेकर आए हैं। कोविड की
परिस्थितियों में उद्योगों को अनेक प्रकार से राहत दी गई हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में डबल इंजन का असर साफ-साफ देखा जा सकता है।
केंद्र सरकार द्वारा लगभग एक लाख करोड़ रूपए की विभिन्न परियोजनाएं प्रदेश
के लिए स्वीकृत हुई हैं। बहुत सी योजनाओं पर तेजी से काम भी चल रहा है।
इनमें ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल परियोजना, चारधाम सड़क परियोजना, केदारनाथ धाम
पुनर्निर्माण, भारतमाला परियोजना, जमरानी बहुउद्देशीय परियोजना, नमामि
गंगे, देहरादून स्मार्ट सिटी आदि प्रमुख हैं। सड़क, रेल व एयर कनेक्टिविटी
में काफी विस्तार हुआ है। एयर
कनेक्टिविटी
पर विशेष जोर दिया गया है। केंद्र सरकार के सहयोग से प्रदेश में अनेक उच्च
स्तरीय संस्थाओं की स्थापना की है। इनमें देहरादून में देश का पहला ड्रोन
एप्लीकेशन सेंटर, डोईवाला में सीपेट, कोस्ट गार्ड भर्ती सेंटर, नेशनल लॉ
यूनिवर्सिटी, अल्मोड़ा में सेंटर ऑफ एक्सीलेंस ऑन नेचुरल फाईबर शामिल हैं।
भारत सरकार ने भारत नेट फेज -2 परियोजना के लिए 2 हजार करोड़ रूपए की
स्वीकृति दी है। ‘‘हर घर को नल से जल’’ योजना में प्रदेश के 15 लाख से अधिक
परिवारों को स्वच्छ जल दिलाने का लक्ष्य रखा गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार में विकास का मूलमंत्र, सुशासन है। हम
उत्तराखण्ड को भ्रष्टाचार मुक्त व्यवस्था देने का हर सम्भव प्रयास कर रहे
हैं। ई-कैबिनेट, ई-ऑफिस, सीएम डैश बोर्ड उत्कर्ष, सीएम हेल्पलाईन 1905,
सेवा का अधिकार और ट्रांसफर एक्ट की पारदर्शी व्यवस्था के चलते
कार्यसंस्कृति में गुणात्मक सुधार हुआ है। पिछले लगभग साढ़े तीन वर्षों में
उत्तराखण्ड ने विभिन्न क्षेत्रों में बेहतरीन प्रदर्शन किया है। राष्ट्रीय
फलक पर उत्तराखण्ड अपनी पहचान बनाने में कामयाब रहा है। राष्ट्रीय स्तर पर
मिले पुरस्कार इस बात की पुष्टि करते हैं।
राज्य में निवेश लाने
के लिए पूरी गम्भीरता से काम किया गया है। इन्वेस्टर्स समिट के बाद पहले
चरण में 24 हजार करोड़ रूपए से अधिक के निवेश की ग्राउंडिंग हो चुकी है।
पर्वतीय राज्य की अवधारणा से बने उत्तराखण्ड में पहली बार किसी सरकार ने
रिवर्स पलायन पर सुनियोजित तरीके से काम शुरू किया है। सभी न्याय पंचायतों
में क्लस्टर आधारित एप्रोच पर ग्रोथ सेंटर बनाए जा रहे हैं। इससे ग्रामीण
आर्थिकी मजबूत हो रही है।
मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र ने कहा
कि किसानों को तीन लाख रूपए और महिला स्वयं सहायता समूहों को पांच लाख रूपए
तक का ऋण बिना ब्याज के उपलब्ध कराया जा रहा है। सौर ऊर्जा और पिरूल ऊर्जा
नीति, ग्रामीण युवाओं की आजीविका में सहायक हो रही है। होम स्टे योजना से
ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती मिल रही है। 13 डिस्ट्रिक्ट-13 न्यू
डेस्टीनेशन से नए पर्यटन केंद्रों का विकास हो रहा है। देहरादून में
सूर्यधार झील बनकर लगभग तैयार है। सौंग बांध से ग्रेविटी बेस्ड जलापूर्ति
होगी। गैरसैण, कोलीढे़क, गगास, थरकोट, ल्वाली आदि झीलों पर काम चल रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में पिछले तीन वर्ष में एक ओर बड़े
पैमाने पर संस्थागत सुधार किए वहीं समाज के हर तबके का ध्यान रखा गया है।
विकास का लाभ अंतिम छोर पर खड़े व्यक्ति तक पहुंचाने का प्रयास किया गया।
सरकार शहीद सैनिकों के परिवारजनों के साथ खड़ी है। शहीद सैनिकों के परिवार
के एक सदस्य को उसकी योग्यता अनुसार सरकारी नौकरी दी जा रही है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हम अपने सभी वायदों को पूरा करने के लिए दृढ़
संकल्पित हैं। हम काम में विश्वास करते हैं। ‘‘राम काज कीन्हें बिनु मोहि
कहां विश्राम’’।
एक टिप्पणी भेजें