देहरादून :
1971 में टिहरी रियासत के पूर्व महाराजा मानवेन्द्र शाह को हराकर इतिहास लिखने वाले पूर्व सांसद और स्वतंत्रता संग्राम सेनानी प्रजामण्डल के प्रथम अध्य्क्ष रहे,श्री परिपूर्णानंद पैन्यूली का लंबी बीमारी के बाद आज देहरादून के ओएनजीसी अस्पताल में इलाज के दौरान निधन हो गया। वह 96 साल की उम्र में गंभीर बीमारी से जूझ रहे थे।
उनकी चार बेटियां हैं। वर्तमान में वह देहरादून के बसन्त विहार के अपने निवास पर रहते थे। कल शुक्रवार रात तबियत बिगड़ने पर उनकी देखरेख कर रहे युवक ने उनको अस्पताल में भर्ती कराया।
जहाँ आज शनिवार दोपहर को उनका निधन हो गया। उनकी 4 बेटियाँ है,दिल्ली से उनकी बेटी विजय दून पहुँच गए हैं। श्री पैन्यूली का पार्थिव शरीर अभी अस्पताल में है। परिजनों ने बताया कि राविवार को उनका अंतिम संस्कार होगा।
आजादी के आंदोलन और टिहरी रियासत को आजाद भारत में विलय कराने में उनकी अहम भूमिका रही।उनका निधनउत्तराखंड एक बड़ी क्षति है,ऐसे महान योद्धा,ईमानदार राजनेता का जाना बेहद दुःखद,ईश्वर उनकी आत्मा को शांति प्रदान करे।
मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने पूर्व सांसद व स्वतंत्रता संग्राम सेनानी श्री परिपूर्णानन्द पैन्यूली के निधन पर गहरा दुःख व्यक्त किया है। उन्होंने दिवंगत की आत्मा की शांति एवं दुख की इस घड़ी मे उनके परिजनों को धैर्य प्रदान करने की ईश्वर से कामना की है।
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